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तरल मोजेक मॉडल सिंगर एवं निकोलसन नामक वैज्ञानिक द्वारा प्रस्तुत किया गया एक मॉडल है …

तरल मोजेक मॉडल सिंगर एवं निकोलसन नामक वैज्ञानिक द्वारा प्रस्तुत किया गया एक मॉडल है जिसके अनुसार कला के बीच में द्विआण्विक लिपिड की परत उपस्थित होती है तथा इस परत के बाहर परिधीय या बाह्य एवं परत में धँसी समाकल प्रोटीन पायी जाती है। परिधीय प्रोटीन शर्करा की श्रृंखलाओं से जुड़कर ग्लाइकोप्रोटीन तथा लिपिड के साथ संयुक्त होकर ग्लाइकोलिपिड का निर्माण करती है।